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भारत की कोयला गैसीकरण योजना: संभावनाएं, रोडमैप और चुनौतियां

भारत की योजना 2030 तक 100 मीट्रिक टन कोयले का गैसीकरण करने की है, और देश के पास इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए प्रचुर भंडार हैं। लेकिन इसे सफल बनाने के लिए कुछ चुनौतियों से निपटना होगा, जैसे खराब गुणवत्ता के कोयले, और प्रभावी कार्बन कैप्चर, यूटिलाइज़ेशन और स्टोरेज तकनीक की कमी आदि।

2026 तक कोयले की मांग में होगी 2.3% की कमी: आईईए रिपोर्ट

मौजूदा नीतियों के आधार पर, आईईए की रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया है कि 2026 तक कोयले की मांग में कमी होगी, लेकिन यदि अंतर्राष्ट्रीय जलवायु लक्ष्यों को पूरा करने की दिशा में तेजी से गिरावट लाने की जरूरत है तो इसके लिए और अधिक प्रयास करने होंगे।

क्या भविष्य की नौकरियों के लिए तैयार हैं कोयला समृद्ध क्षेत्रों के युवा

झारखंड देश को ऊर्जा और खनिज देने वाले राज्यों में अग्रणी है, लेकिन आज यहां की युवा पीढ़ी अपने भविष्य को लेकर फिक्रमंद है।