दिल्ली सरकार की नई ईवी पॉलिसी: 2027 तक 95% ईवी एडॉप्शन का लक्ष्य

दिल्ली की नई सरकार ने प्रस्तावित इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) पॉलिसी 2.0 की घोषणा की है। योजना में 2027 तक नए पंजीकृत वाहनों में ईवी एडॉप्शन को 95% करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। प्रस्तावित पालिसी के मुख्य बिंदुओं में सीएनजी ऑटो-रिक्शा, टैक्सियों और हल्के व्यावसायिक वाहनों (एलसीवी) को फेज आउट करने के साथ-साथ, पूर्ण रूप से इलेक्ट्रिक बसों में ट्रांज़िशन आदि शामिल हैं। नीति में इलेक्ट्रिक दो-पहिया, तीन-पहिया, एलसीवी, और ई-ट्रक की खरीद पर इंसेंटिव देने का प्रस्ताव है। इसके अलावा जीवाश्म ईंधन वाहनों (आईसीई) की रेट्रोफिटिंग और स्क्रैपिंग पर भी इंसेंटिव प्रस्तावित है।

चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर को बढ़ाने के लिए सरकार ने अधिक सार्वजनिक चार्जिंग पॉइंट्स स्थापित करने, नई इमारतों में अनिवार्य चार्जिंग स्टेशन और फास्ट-चार्जिंग कॉरिडोर विकसित करने की योजना बनाई है। एक समर्पित राज्य ईवी फंड ग्रीन लेवी और प्रदूषण उपकर के माध्यम से इंसेंटिव का समर्थन करेगा।

बैटरी प्लांट की स्थापना में देरी के लिए रिलायंस पर लगा जुर्माना

सरकार ने रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड की एक इकाई पर तय समय सीमा के भीतर बैटरी सेल प्लांट स्थापित करने में विफल रहने के लिए जुर्माना लगाया है। इस प्लांट के लिए कंपनी को प्रोडक्शन-लिंक्ड इंसेंटिव (पीएलआई) दिया गया था। 

रिलायंस ने एक स्टॉक एक्सचेंज फाइलिंग में घोषणा की कि इसकी सहायक कंपनी रिलायंस न्यू एनर्जी बैटरी स्टोरेज लिमिटेड को 3 मार्च को भारी उद्योग मंत्रालय से एक पत्र मिला, जिसमें कहा गया है कि देरी के लिए 1 जनवरी, 2025 से हर दिन (50 करोड़ रुपए की) परफॉरमेंस सिक्योरिटी के 0.1% की दर से जुर्माना लगाया जाएगा।

महंगे इलेक्ट्रिक वाहनों पर 6% टैक्स लगाएगी महाराष्ट्र सरकार

महाराष्ट्र सरकार ने 2025-26 के बजट में 30 लाख रुपए से अधिक की लागत वाले इलेक्ट्रिक वाहनों पर 6 प्रतिशत टैक्स का प्रस्ताव रखा है। उप-मुख्यमंत्री और वित्तमंत्री अजीत पवार द्वारा प्रस्तुत किए गए बजट में सीएनजी और एलपीजी वाहनों पर लगने वाले मोटर वाहन कर में 1% बढ़ोतरी की घोषणा की गई है।

सरकार ने कंस्ट्रक्शन वाहनों पर 7% कर का प्रस्ताव रखा है, जिससे 180 करोड़ रुपए का अतिरिक्त राजस्व उत्पन्न होने की उम्मीद है। जबकि ईवी और सीएनजी-एलपीजी वाहनों पर टैक्स से 2025-26 में 150 करोड़ रुपए का अतिरिक्त राजस्व उत्पन्न होने की उम्मीद है।

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