केपीएमजी और भारतीय उद्योग महासंघ (सीआईआई) की ताज़ा रिपोर्ट में अनुमान है कि 2030 तक भारत के बैटरी वाहन ट्रांजिशन का झंडा तिपहिया वाहन उठायेंगे। रिपोर्ट में कहा गया है कि 65-75% तिपहिया वाहन बैटरी मोबिलिटी में होंगे जबकि कीमत में मिलने वाले फायदे के बावजूद 25-35% दुपहिया वाहन ही बैटरी वाले होंगे जबकि दुपहिया कुल ऑटो सेल का 80% होते हैं।
रिपोर्ट में अनुमान है कि 2025 तक निजी कारों का केवल 1-3% ही बैटरी चालित हो पायेगा जबकि 2030 तक आंकड़ा 10-15% होगा। यह उत्साहवर्धक आंकड़ा नहीं है। साल 2019-20 में भी केवल 3,600 बैटरी कारें बिक पाईं।
EV को बढ़ाने के लिये शुरुआती मुनाफा छोड़ें: गडकरी
सड़क, भूतल परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने ऑटो निर्माता कंपनियों से कहा है कि वह बैटरी वाहनों का तेज़ी से विस्तार करने के लिये वाहनों की कीमतें कम रखें और शुरुआती मुनाफा छोड़ दें। गडकरी का यह बयान उनके उस दावे के कुछ दिनों बाद आया है जिसमें उन्होंने 2025 तक भारत के EV मैन्युफेक्चरिंग हब बनने की बात कही थी हालांकि भारत के कार निर्माता अभी परम्परागत (आईसी इंजन) कारों पर ही ज़ोर दे रहे हैं।
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